
उस दिन खुबसूरत सूर्य लालिमा देख मैंने यह फोटो खिंची ......
यह दूसरी तरफ.....
बादलों पर पड़ती हुई सूरज की लालिमा क्या भली लगती है...
यह देखिये लालिमा हरियाली और नीली का सम्मेलन....क्या खुबसूरत...
फ़िर यह थोड़ी देर बाद...शब्बा खैर!!!
gharni, a housewife performs so many tasks that it is very difficult to relase her all the performences,this blog can help them.

यह दूसरी तरफ.....
बादलों पर पड़ती हुई सूरज की लालिमा क्या भली लगती है...
यह देखिये लालिमा हरियाली और नीली का सम्मेलन....क्या खुबसूरत...
फ़िर यह थोड़ी देर बाद...
इस गमले में थूजा का पौधा है...इसे मैंने करीब १०-११ वर्ष पहले छोटे गमले में लगाया था...
और ऊपर इसमें जटरोपा का पौधा है..यह ७-८ वर्ष पहले मैंने छोटे गमले में लगाया था..
इसे बाद में मैंने ऊपर से रिम पर और ग्राउट लगाया और फ़िर स्कैच पैन से आउटिंग कर के ऊपर से दो कोट वार्निश कर दी...

इस बाल्टी का रिम बिलकुल टूट गया था मैंने बाल्टी की रिम पर एक मोटी सुई लेकर इसे गर्म कर जगह -जगह छेद किये और एक पानी की बेकार पड़ी ट्यूब के बीच मेंचिर लगा कर इसे रिम में फिट कर दिया,। और फ़िर इसे बोरी के तुकडे से फेविकोल से चिपकाया और फ़िर तार से सिल दिया..
सभी बेकार चीजें यानी कि बोरी का टुकड़ा, टूटी पुरानी ट्यूब, टूटी ताय्लने और टूटी बालटी का सही उपयोग कर सुन्दर गमले बन गये.. 
यह देखिये ज़रा नजदीक से कितना सुन्दर और टिकाऊ गमला बन गया है....